खड़े होकर खाना खाने के नुकसान Can Be Fun For Anyone



अगर आप शरीर को पर्याप्त मात्रा में पोषण देना चाहते हैं तो एक कटोरी पपीता काफी माना जाता है. लेकिन इससे ज्यादा इसे खाना हानिकारक भी हो सकता है.

यूं तो पानी पीना एक अच्छी आदत होती है. इससे कई रोग दूर होते हैं. पानी पीने से शरीर से टॉक्सिन्स बाहर निकलते हैं और इंफ्लेमेशन, गंदे वायरस शरीर में नहीं रुकते.

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खड़े होकर खाना, आंतों के लिए भी नुकसानदायक है। रोजाना की ये आदत आंतों के सिकुड़ने का कारण बन सकती हैं जिससे सेहत की अन्य समस्याएं भी हो सकती हैं।

खड़े रहते हुए खाना खाने से खाना ठीक से हजम नहीं होता जिससे मोटापे की संभावना बढ़ जाती है। शरीर में फैट जमा हो जाता है और कैलोरी की मात्रा बढ़ जाती है।

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घर हो या बाहर, हम में से अधिकांश लोगों ने बैठकर खाना खाना लगभग छोड़ दिया है। फैशन कहें या या वक्त की कमी के चलते खड़े होकर खाना हमारे कल्चर में शामिल हो गया है। कल्चर तक तो ठीक है, लेकिन अगर ये आपकी भी आदत में शुमार हो चुका है तो आपको इसके नुकसान भी पता होना चाहिए।

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आहार नली पर पड़ता है प्रभाव अपनी खाने की आदत को इस तरह से बदल डालने पर हमारी आहार नली पर गलत प्रभाव पड़ता है। नली यदि ब्लॉक हो जाती है तब तो समस्या और भी बढ़ जाती है पर इस तरह खाना खाने से भोजन अटकना और ठसका लगने की समस्या अधिकतर होती है। कई बार नली के क्षतिग्रस्त होने से खाना पेट तक नहीं पहुंच पाता है और यह नली में ही सड़ने लगता है जिससे कि गैस बनने लगती है। विज्ञापन

- बैठकर पानी पीने से पानी सही तरीके से पचता है और सेल्स तक पहुंचता है. जितने पानी की शरीर को जरूरत होती है उसे सोखकर बाकी का पानी यूरीन के जरिए शरीर से बाहर निकलता है.

कहा जाता है कि खड़े होकर खाते हैं तो हमारी आंतें सिकुड़ जाती हैं, जिससे खाना नहीं पचता.

सदर थाना क्षेत्र आंजन से मड़वा जंगल की ओर जाने वाले रास्ते में गुरुवार को दोपहर करीब दो बजे गुप्त सूचना पर पहुंची एसपी के नेतृत्व में पहुंची टीम के साथ नक्सलियों के बीच हुए मुठभेड़ में तीन लाख इनामी सब जोनल कमांडर राजेश उरांव मारा गया। वही इस मुठभेड़ के दौरान नक्सली जोनल कमांडर रंथू उरांव दस्ते के अन्य सदस्यों के साथ जंगल का फायदा उठाकर भाग निकलने में सफल रहा।

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